• गर्भवती महिलाओं की हुई प्रसव पूर्व सभी प्रकार की जांच
• कोरोना काल के कारण स्थगित कर दी गई थी सेवा
• जांच के दौरान सोशल डिस्टेनसिंग का रखा गया खयाल
पूर्णियाँ : 09 जून
कोरोना काल से उबरते हुए सिविल सर्जन के आदेश से सभी अस्पतालों में प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान की शुरूआत की गई. इसके तहत दूसरी और तीसरी तिमाही की सभी गर्भवती महिलाओं की प्रसव पूर्व होने वाले सभी प्रकार की जांच की गई. इस दौरान अस्पतालों को अच्छी तरह से सजाया गया व जांच के समय सोशल डिस्टेनसिंग का खयाल रखा गया. ज्ञात हो कि कोविड-19 से पहले प्रत्येक माह की निश्चित नवीं तारीख को प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत दूसरी और तीसरी तिमाही की सभी गर्भवती महिलाओं की व्यापक और गुणवत्तायुक्त प्रसव पूर्व देखभाल प्रदान करने के लिए जांच कराई जाती थी, जो कोरोना काल के दौरान बन्द कर दी गई थी. इसकी पुनः शुरुआत करते हुए जिले के सभी अस्पतालों में इसकी शुरुआत की गई.
गर्भवती महिलाओं की हुई प्रसव पूर्व सभी प्रकार की जांच :
प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान अंतर्गत अस्पतालों में गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व के सभी प्रकार की जांच की गई. इस दौरान उनकी ब्लड टेस्ट, यूरिन टेस्ट, ब्लड प्रेशर, हेमोग्लोबिन व अल्ट्रासाउंड की जांच हुई. जांच के बाद समय पर रिपोर्ट देने के साथ ही गर्भवती महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान रखने वाली सावधानियों के बारे में भी बताया गया.
कोरोना काल के दौरान स्थगित कर दिया गया था अभियान :
प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान प्रत्येक माह की नवीं तारीख को सभी अस्पतालों में चलाया जाता है, परन्तु पिछले कुछ महीनों से कोरोना संक्रमण के बढ़ने के कारण इसे स्थगित कर दिया गया था. इस दौरान अस्पतालों में गर्भवती महिलाओं की जांच नहीं कराई जा रही थी. हालांकि इस दौरान सभी आशाओं और आंगनबाड़ी सेविकाओं द्वारा घर-घर जाकर उनकी देख-भाल की जा रही थी. उसके स्वास्थ्य की नियमित जांच के साथ ही उन्हें कोरोना से बचने, साफ-सफाई पर ध्यान देने, पौष्टिक आहार लेने आदि की जानकारी दी जा रही थी. जोखिम वाले गर्भवती महिलाओं के लिए पहले से अस्पताल को सूचित करने के साथ ही एम्बुलेंस का तैयार रखना, समय-समय पर उनका हाल-चाल लेना आदि आशाओं व सेविकाओं द्वारा नियमित तौर पर किया जा रहा था.
सजाया गया था सभी अस्पताल :
अभियान की दुबारा शुरुआत के लिए सभी अस्पतालों को अच्छी तरह से सजाया गया. इस दौरान अस्पताल कक्ष में गुब्बारे लगाए गए. इसके अलावा गर्भवती महिलाओं के लिए स्वच्छ पानी की व्यवस्था अस्पतालों में कई गई. जांच के दौरान सोशल डिस्टेनसिंग का भी ध्यान रखा गया. सभी अस्पताल कर्मचारियों ने मास्क, ग्लब्स आदि पहन कर जांच कक्ष में उपस्थित रहे.
गर्भवती महिलाएं इन बातों का रखें विशेष ध्यान:
• तनाव मुक्त रहें एवं रात में अच्छी नींद लें.
• आहार में पोषक तत्वों को शामिल करें. दाल, हरी सब्जियां, मौसमी फल, चना एवं गुड, दूध, अंडे इत्यादि का रोज सेवन करें.
• टीबी पर समाचार देखने की जगह मनोरंजक कार्यक्रम अधिक देखें.
• घर से बाहर निकलने से परहेज करें.
• परिवार के साथ अपनी मानसिक परेशानी साझा करें.
• नकारत्मक सोच की जगह सकारात्मक सोचें.